भीलवाड़ा के मंदिर | Bhilwara Mandir GK

Bhilwara Mandir GK

तिलस्वां महादेव का मंदिर

माण्डलगढ़ से लगभग 40 किमी. दूर स्थित तिलस्वां महादेव के इस मंदिर पर प्रतिवर्ष शिवरात्रि को विशाल मेला लगता है। चर्म रोग एवं कुष्ठ रोग से पीड़ित व्यक्ति यहाँ स्वास्थ्य लाभ हेतु आते हैं। यहाँ 12वीं सदी का प्रसिद्ध मंदाकिनी मंदिर स्थित है।

सवाई भोज मंदिर

आसींद (भीलवाड़ा) में स्थित है। यह गुर्जर समाज का प्रमुख तीर्थ स्थल है। यहाँ प्रतिवर्ष भाद्रपद माह में विशाल पशु मेला भरता है। राजस्थान में देवनारायणजी के चार प्रमुख मंदिर हैं – 1. गोठा दड़ावताँ (आसीन्द) 2. देवधाम जोधपुरिया (टोंक) 3. देवमाली (अजमेर) 4. देव डूंगरी (चित्तौड़गढ़)।

धनोप माता का मंदिर

धनोप गाँव (भीलवाड़ा) में स्थित है। धनोप माता राजा धुंध की कुलदेवी है। यहाँ प्रतिवर्ष चैत्रसुदी एकम से चैत्रसुदी 10वीं तक मेला भरता है।

हरणी महादेव मंदिर

भीलवाड़ा से 6 किमी. दूर स्थित इस मंदिर में महाशिवरात्रि को विशाल मेला भरता है।

मंदाकिनी मंदिर

बिजौलिया में स्थित है।

बाईसा महारानी मंदिर

गंगापुर (भीलवाड़ा) में ग्वालियर के महाराजा महादजी सिंधिया की महारानी गंगाबाई का प्रसिद्ध मंदिर है।

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